व्यापार

खगड़िया और समस्तीपुर में बाढ़ से तबाही, गंगा और गंडक का जलस्तर खतरनाक स्तर पर

बिहार में गंगा, कोसी, बागमती और बूढ़ी गंडक समेत कई नदियां उफान पर हैं। बाढ़ के पानी से दर्जनों गांव डूब गए हैं। राजधानी पटना में गंगा नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। पुनपुन का पानी भी बढ़ रहा है। सोन के जलस्तर में गिरावट दर्ज की गई है। 

पटना के गंगा नदी दीघा घाट पर 18, गांधी घाट पर 82 और हाथीदह में जलस्तर 71 सेंटीमीटर ऊपर है। मनेर में पानी खतरे के निशान से केवल एक सेंटीमीटर ज्यादा है। हालांकि, राहत की बात यह है कि कई दिनों से जारी जलस्तर में वृद्धि के बाद गंगा के पानी में ठहराव आया है।

समस्तीपुर में बाढ़ जैसे हालात

समस्तीपुर में गंगा का पानी फैलने से पूरे क्षेत्र में बाढ़ की स्थिति बनती जा रही है। हालांकि, गंगा खतरे के निशान से 1.10 मीटर ऊपर चढ़कर 46.60 मीटर पर स्थिर है।

इससे मोहनपुर के जौनापुर-डुमरी दियारा मोड़ सड़क पर पानी चढ़ गया है। बांका में नहाने के दौरान नदी में डूबने से एक बच्चे की मौत हो गई है।

मुंगेर में 4 दर्जन से अधिक गांवों में घुसा पानी

मुंगेर में गंगा के चेतावनी स्तर से ऊपर 38.65 मीटर पर बह रही है। पिछले तीन दिनों में गंगा के पानी में 70 सेंटीमीटर की बढ़ोतरी हुई है।

सदर प्रखंड के तौफीर दियारा, टीकारामपुर पंचायत, हेरू दियारा, मई पंचायत, कुतलुपर पंचायत, धरहरा प्रखंड की हेमजापुर पंचायत के कई गांवों के अलावा बरियापुर प्रखंड के चार दर्जन से अधिक गांवों में पानी घुस गया है। फसलें डूब गई हैं।

बरियापुर के लालजी टोला में चार दर्जन से अधिक गांव डूब गए हैं। इन घरों में रहने वाले 150 से अधिक लोग रेलवे लाइन के किनारे अस्थायी रूप से रह रहे हैं।

बरियारपुर बिजली सब स्टेशन में पानी घुसने से यह दूसरे दिन भी बंद है। दूसरे सब स्टेशन से बिजली आपूर्ति शुरू की गई है। डीएम अवनीश कुमार सिंह के निर्देश पर जाफरनगर दियारा से लोगों को नाव द्वारा निकाला जा रहा है।

खगड़िया में डरा रहा नदियों का रौद्र रूप

खगड़िया में कोसी, बागमती, गंगा और बूढ़ी गंडक खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। इस कारण परबत्ता प्रखंड के कई गांव पानी से घिर गए हैं। किशनगंज की नदियों में भी उतार-चढ़ाव जारी है।

सुपौल में भी दर्जनों गांवों में घुसा पानी

सुपौल में सोमवार शाम चार बजे कोसी का जलस्राव बराज पर 2,09,965 क्यूसेक (घनफुट प्रति सेकेंड) रिकार्ड किया गया। इसे डाउन स्ट्रीम में पास कराया जा रहा है। किसनपुर प्रखंड के दर्जनों गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है।

इन जिलों में भी बाढ़ जैसे हालात

मधेपुरा जिले के आलमनगर व चौसा प्रखंड के निचले क्षेत्र भी डूबे हुए हैं। सहरसा जिले के नवहट्टा प्रखंड के कई गांवों में बाढ़ के कारण बिजली काट दी गई है।

पूर्णिया में परमान और कनकई कटाव कर रही हैं। कटिहार में गंगा नदी खतरे के निशान से 30 सेंटीमीटर, कोसी 74 सेंटीमीटर व कारी कोसी 112 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है।

बांका जिले के धोरैया प्रखंड स्थित बलियास गांव में नहाने के दौरान गहिरा नदी में 12 वर्षीय शहजादा डूब गया। उसकी तलाश की जा रही है।

भोजपुर-बक्सर में गंगा के जलस्तर में गिरावट

भोजपुर में आधा घंटे में एक सेमी की गति से गंगा नदी का जलस्तर घटने लगा है। सोमवार की सुबह छह बजे जलस्तर 53.31 मीटर था, जो शाम छह बजे 53.24 मीटर हो गया।

इस तरह 12 घंटे में गंगा का जलस्तर सात सेंटीमीटर घटा है, हालांकि गंगा नदी अभी भी चेतावनी बिंदु से 16 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है।

बक्सर में गंगा चेतावनी बिंदु से नीचे है, अब दो सेमी प्रतिघंटे की गति से जलस्तर घट रहा है। पटना में पानी बढ़ने के कारण प्रतिदिन नए-नए क्षेत्रों में इसका फैलाव हो रहा है। गंगा के दियारा क्षेत्र के खेत डूब गए हैं। कई जगह रास्ते पर भी पानी बह रहा है।

दीघा घाट पर सोमवार सुबह नदी का जलस्तर खतरे के निशान से 23 सेंटीमीटर ऊपर था। गांधी घाट पर 82, हाथीदह में 64 एवं मनेर में दो सेंटीमीटर ज्यादा जलस्तर दर्ज किया गया।

समस्तीपुर के आधा दर्जन गांवों में घुसा पानी

समस्तीपुर के मोहिउद्दीनगर प्रखंड के आधा दर्जन गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है। आधा दर्जन स्कूलों में बाढ़ का पानी पहुंचने से उसे बंद कर दिया गया है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button